मुख्य सचिव ने कहा कि खाद्य पदार्थों में मिलावट से संबंधित मामलों की फास्ट ट्रैक में हो सुनवाई।
Devbhumilive Uttarakhand Dehradun Report News Desk
देहरादून – मुख्य सचिव डॉ. एस.एस. सन्धु ने गुरुवार को सचिवालय में खाद्य पदार्थों में मिलावट के बारे में उच्चाधिकारियों के साथ बैठक कर अधिकारियों को निर्देश दिए कि खाद्य पदार्थों में मिलावट को रोकने के लिए ठोस योजना तैयार की जाए। उन्होंने कहा कि मिलावटखोरों को एहसास कराना जरूरी है कि आमजन के स्वास्थ्य से खिलवाड़ करने वालों को बिल्कुल बख्शा नहीं जाएगा।
उन्होंने टेस्टिंग लैब निर्माण में तेजी लाने के भी निर्देश दिए हैं। साथ ही खाद्य पदार्थों में मिलावट को रोकने के लिए लगातार अभियान चलाए जाएं। यह अभियान सिर्फ त्यौहारी सीजन को देखते हुए न हो, बल्कि इसे नियमित आधार पर चलाया जाए।
मुख्य सचिव ने कहा कि फूड एडल्ट्रेशन को रोकने के लिए सख्त से सख्त कदम उठाए जाने चाहिए। उन्होंने कहा कि जब तक इसके प्रति आमजन जागरूक नहीं होगा तब तक फूड एडल्ट्रेशन को रोकना आसान नहीं होगा। उन्होंने कहा कि मिलावटखोरों की जानकारी देने वालों को रिवार्ड भी दिया जाना चाहिए ताकि लोग जानकारी देने को आगे आए।
मुख्य सचिव ने मिलावट से संबंधित मामलों की जिलेवार रिपोर्ट उपलब्ध कराए जाने के निर्देश देते हुए कहा कि यह भी बताया जाए कि किस जनपद में कितने मामले कब से पेंडिंग हैं। उन्होंने मिलावट से संबंधित सभी मामलों को फास्ट ट्रैक पर निपटाने के निर्देश दिए। कहा कि मिलावट के गंभीर मामलों को प्राथमिकता के साथ शीघ्र से शीघ्र फैसला किया जाए।
मुख्य सचिव ने कहा कि नियमित जांच और कठोर कार्रवाई से ही खाद्य पदार्थों में मिलावटखोरी को रोका जा सकता है। उन्होंने इसके लिए ठोस एक्शन प्लान के साथ ही इसके कार्यान्वयन की टाइम लाइन निर्धारित किए जाने के निर्देश दिए।
इस अवसर पर सचिव श्री अमित नेगी एवं कमिश्नर फूड सेफ्टी डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय सहित अन्य उच्चाधिकारी उपस्थित थे।
मुख्य सचिव ने कहा कि नियमित जांच और कठोर कार्रवाई से ही खाद्य पदार्थों में मिलावटखोरी को रोका जा सकता है। उन्होंने इसके लिए ठोस एक्शन प्लान के साथ ही इसके कार्यान्वयन की टाइम लाइन निर्धारित किए जाने के निर्देश दिए।
इस अवसर पर सचिव श्री अमित नेगी एवं कमिश्नर फूड सेफ्टी डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय सहित अन्य उच्चाधिकारी उपस्थित थे।