पुलिस उपमहानिरीक्षक कुमायूँ रेंज द्वारा दुर्घटनाओं की रोकथाम एवं सुगम यातायात व्यवस्था हेतु गोष्ठी का आयोजन किया।
Devbhumilive Uttarakhand Nainital Report News Desk
नैनीताल – पुलिस उपमहानिरीक्षक कुमाऊँ रेंज नैनीताल, डाँ नीलेश आनन्द भरणे द्वारा कैम्प कार्यालय हल्द्वानी में परिक्षेत्र के जिला ऊधमसिंहनगर और नैनीताल के पुलिस अधीक्षक, यातायात एवं जनपदों के यातायात प्रभारी और सीपीयू प्रभारी के साथ संयुक्त रुप से एक गोष्ठी का आयोजन किया गया।
गोष्ठी में यातायात व्यवस्था हेतु निम्न निर्देश दिये गये।
• सुगम यातायात व्यवस्था, चालानों की गुणवत्ता पर ध्यान दिया जाये।
कोविड -19 महामारी के दृष्टिगत चालानों की संख्या पर जोर न देकर यातायात नियमों का उल्लंघन करने वाले उल्लंघनकर्ताओं जैसे रेश, ड्राइविंग लापरवाही से वाहन चलाना, वाहन चलाते समय मोबाइल का इस्तेमाल करना, शराब पीकर वाहन चलाना, ट्रैफिक लाइट का उल्लंघन आदि से संबंधित ही चालान करने के निर्देश दिए, जिससे जनता पर आर्थिक व्ययभार न हो।
• यातायात नियमों का उल्लंघन करने वाले व्यक्तियों की कतिपय स्थिति को छोडकर 2000 रुपये से अधिक के चालान न किये जाये।
• एक से अधिक बार उल्लंघन करने वाले उल्लंघनकर्ताओं के विरुध ड्राईविंग लाईसेंस निरस्तीकरण की कार्रवाई की जाये।
• मैदानी जनपदों में सीपीयू की तर्ज पर पहाडी जनपदों में एचपीयू हिल पुलिस यूनिट को उपलब्ध संसाधनों के आधार पर और अधिक सशक्त /सक्रिय बनाये जाने हेतु जनशक्ति आते हुए अनुपालन किया जाये ।
• पहाडी क्षेत्रों में यातायात व्यवस्था को सुचारू रुप से चलाने के लिए छोटे-छोटे पोकैट पार्किंग बनायी जायें। इसके अतिरिक्त दुपहिया वाहनों से होने वाली दुर्घटना की रोकथाम हेतु स्पीड ब्रैकर बनवाए जाये।
• 30 सितम्बर 2021 तक यातायात व्यवस्था को सुचारु रुप से संचालित करने हेतु विभिन्न महत्वपूर्ण स्थानों का प्रभारी स्वयं सर्वे कर दुर्घटना संभावित क्षेत्र(BLACK SPOT), संकरे मार्ग(BOTTLE NECK) को चिन्हित कर कार्ययोजना तैयार कर इस कार्यालय को उपलब्ध करायी जाये, जिस हेतु पूर्व में निर्देश जारी किये जा चुके है।
• कुमायूँ परिक्षेत्र के महत्वपूर्ण शहरों में यातायात व्यवस्था हेतु पार्किंग, कट्स, ट्रैफिक लाईट्स इत्यादि का सर्वे कर आवश्यक कार्रवाई की जाये।
• याताताय व्यवस्था में अवरोध उत्तपन्न करने वाले वृक्ष, बिजली के खम्भे, सीमेन्टेड पुलिया इत्यादि हटाये जाने के आवश्यता होने पर जिला प्रशासन, नगर निगम से समन्वय स्थापित कर आवश्यक कार्रवाई की जाये।
• 01 अक्टूबर से 01 माह हेतु प्रारम्भ होने वाले यातायात अभियान में यातायात व्यवस्था को सुचारु रुप से संचालिक करने हेतु एक-एक करके कार्रवाई कर सोशल मीडिया, प्रेस के माध्यम से प्रचार प्रसार किया जाये ।